- महीनो से कई बार लिखित-अलिखित अनुरोध कर चुके हैं कर्मी, लेकिन अभी भी खाली हाथ
- भुखमरी की कगार से गुजर रहे बिजली विभाग के संविदा विद्युत कर्मी
विजय श्रीवास्तव
लखनऊ। बिजली विभाग इन दिनों भीषण परेशानी के दौर से गुजर रहा है। जहां राज्य स्तरीय अधिकारी निजीकरण के खिलाफ संघर्ष के मूड में हैं, वहीं संविदा पर कार्य करने वाले बिजलीकर्मियों को दो महीने से वेतन नहीं मिल पाया है। इस कारण वो धरना-प्रदर्शन करने में जुटे हैं। मामला राजधानी लखनऊ के वृंदावन क्षेत्र का है। जहां सभी केन्द्रों के विद्युत संविदा कर्मियों ने अपने दो माह के बकाया वेतन को लेकर विद्युत केन्द्र के आफिस पर सामूहिक धरना प्रदर्शन किया।
कर्मियों ने साफ कहा कि हमारा घर खर्च, राशन, पानी सिलेंडर, घर के बुजुर्गों की दवाई, बाइक की किश्त और पेट्रोल, बच्चों की स्कूल फीस सभी इसी तनख्वाह पर टिकी रहती है। जब तक हमें तनख्वाह नहीं मिलेगा तब तक हम न आफिस से अधिकारियों को घर जाने देंगे न धरना से हटेंगे। खबर लिखे जाने तक धरना जारी था और अधिकारीगण कर्मचारियों से वार्ता कर कोई सुगम रास्ता निकालने में जुटे थे। बताया रहा कि है देर शाम अधिकारी सीरियस होकर कुछ संविदा कर्मचारियों का तनख्वाह देने की तैयारी में जुट गये हैं।
संविदाकर्मियों ने पत्रकारों को अधिकारियों को भेजे वेतन मांग पत्र को दिखाते हुए कहा कि उच्च स्तरीय अधिकारियों से अनुरोध करते-करते हम लोगों के परिवार व बच्चे भुखमरी के कगार पर आ गये हैं। अब अधिकारियों को तनख्वाह देना ही पड़ेगा नहीं तो अब हम लोग घर बच्चों के पास न खाली हाथ लेकर जायेंगे न अधिकारियों-कर्मचारियों को उनके घर जाने देंगें ।