सिख धर्म की स्थापना कर दुनिया को दिशा दिखा गए गुरु गोविंद सिंह

  • कल पांच जनवरी को मनाई जाएगी गुरु गोविंद सिंह जी की जयंती

अजमेर से राजेन्द्र गुप्ता

गुरु गोबिंद सिंह जी केवल भारत के इतिहास में ही नहीं, बल्कि विश्व के सबसे महान व्यक्तित्वों में से एक माने जाते हैं। वे एक उत्कृष्ट दार्शनिक, लेखक, और कवि के साथ-साथ अद्वितीय रणनीतिकार और असाधारण योद्धा भी थे। वे सिख धर्म के दसवें और अंतिम गुरु हैं, जिन्होंने सिख धर्म के सिद्धांतों को पूरी तरह से स्थापित कर इस पंथ को स्थिरता दी।

गुरु गोबिंद सिंह जयंती कब है?

पंचांग के अनुसार, पौष मास के शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि 05 जनवरी को रात 08:15 बजे प्रारंभ होगी। इस तिथि का समापन 06 जनवरी को दोपहर 06:23 बजे होगा। अतः गुरु गोबिंद सिंह जयंती 06 जनवरी को मनाई जाएगी।

पटना में 10वें गुरु का जन्म हुआ था,

गुरु गोबिंद सिंह जी का जन्म 1666 में पटना में हुआ। वे नौवें सिख गुरु, श्री गुरु तेग बहादुर और माता गुजरी के एकमात्र पुत्र थे, जिनका बचपन का नाम गोबिंद राय था। 11 नवंबर, 1675 को, गुरु तेग बहादुर जी के बलिदान के पश्चात, वे 10वें गुरु के रूप में स्थापित हुए। इस समय उनकी आयु केवल 9 वर्ष थी।

गुरु गोबिंद सिंह जयंती का महत्व

गुरु गोबिंद सिंह जी ने बैसाखी के अवसर पर खालसा पंथ की नींव रखी थी। उनके जीवनकाल में उन्होंने अनेक साहित्यिक रचनाएं कीं. सिख धर्म के लिए उन्होंने कई महत्वपूर्ण नियम स्थापित किए, जिनका पालन आज भी किया जाता है।

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