दिलचस्प होती जंगः झारखंड में सीएम की पत्नी के खिलाफ बीजेपी की मुनिया देवी मैदान में

नया लुक ब्यूरो

रांची। कुशवाहा समाज से संबंध रखने वाली मुनिया देवी को भाजपा ने गांडेय विधानसभा सीट से झामुमो के खिलाफ उम्मीदवार बनाया है। मुनिया देवी ने इसके लिए शीर्ष एवं प्रदेश नेतृत्व का हार्दिक आभार एवं धन्यवाद जताया है। अभी इस सीट से झामुमो की कल्पना सोरेन विधायक हैं। पूरी संभावना है कि झामुमो एक बार फिर कल्पना सोरेन को गांडेय सीट से उतार सकती है। भाजपा ने मुख्यमंत्री की पत्नी कल्पना सोरेने के खिलाफ किसी हाई प्रोफाइल चेहरे को उतारने की बजाय एक जमीनी नेता पर भरोसा जताया है। मुनिया देवी अभी गिरिडीह से जिला परिषद अध्यक्ष हैं। वह एक साल पहले ही भाजपा में शामिल हुईं थीं। पिछले साल भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने एक जनसभा में पार्टी की सदस्यता दिलाई थी।

मुनिया देवी साल 2010 के पहले विशुद्ध रूप से गृहणी थी। 2010-11 में त्रिस्तरीय पंचायती चुनाव में जमुआ पूर्वी भाग से जिला परिषद सदस्य निर्वाचित हुई। इसके बाद जिला परिषद की अध्यक्ष बनी। इसके बाद से राजनीति में इनकी भागीदारी बढ़ती गई। 2022 में दोबारा जिला परिषद निर्वाचित हुई और पुनः जिला परिषद की अध्यक्ष बनीं। पहली बार विधानसभा चुनाव में किस्मत आजमाएंगी। मुनिया देवी के पति कौलेश्वर वर्मा व्यवसायी हैं। इनका ससुराल जमुआ विधानसभा क्षेत्र में है, जबकि इनका मायका गांडेय विधानसभा क्षेत्र में आता है।

बीजेपी की उम्मीदवार बनाए जाने पर मुनिया देवी ने एक्स पर अपने पोस्ट में लिखा है कि विधानसभा चुनाव के लिए गांडेय से भारतीय जनता पार्टी का प्रत्याशी बनाने पर शीर्ष एवं प्रदेश नेतृत्व का हार्दिक आभार एवं धन्यवाद। गांडेय विधानसभा क्षेत्र की देवतुल्य जनता एवं कार्यकर्ताओं के आशीर्वाद से हम एक बार फिर विकास और सुशासन का कमल खिलाएंगे।

दरअसल, प्रोफेसर जयप्रकाश वर्मा के भाजपा छोड़ने के बाद पार्टी को एक मजबूत कुशवाहा नेता की तलाश थी। इस दौरान जून 2023 में भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा की जनसभा में जिला परिषद अध्यक्ष मुनिया देवी ने भाजपा का दामन थाम लिया था। जिला परिषद की अध्यक्ष मुनिया देवी का कहना है कि गांडेय उनका मायका है और यहां के हरेक गांव-घर से वह वाकिफ हैं। यहां के लोग भी उनसे स्नेह करते हैं। उन्हें उम्मीद थी कि पार्टी यहां से उन्हें मौका दे सकती है।

वर्ष 2019 के विधानसभा चुनाव में महागठबंधन की तरफ से झामुमो की टिकट पर मैदान में उतरे डॉ सरफराज अहमद ने इस सीट से जीत दर्ज की थी। 2023 में सरफराज अहमद ने इस्तीफा दे दिया। ऐसे में लोकसभा के साथ ही यहां विधानसभा का भी चुनाव हुआ, जिसमें झामुमो ने यहां से हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना मुर्मू सोरेन को उम्मीदवार बनाया। उन्होंने भाजपा के दिलीप वर्मा को 27 हजार से ज्यादा मतों से हराया था। पूरी संभावना है कि झामुमो फिर से यहां से कल्पना सोरेन को उम्मीदवार बना सकती है।

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