शाश्वत तिवारी
मैड्रिड। स्पेन की दो दिवसीय राजनयिक यात्रा पर पहुंचे विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर ने सोमवार को भारत-स्पेन द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने के लिए अपने स्पेनिश समकक्ष मैनुअल अल्बेरेस और अन्य स्पेनिश अधिकारियों के साथ बैठक की।
डॉ. जयशंकर ने स्पेन के विदेश मंत्रालय द्वारा आयोजित राजदूतों के 9वें वार्षिक सम्मेलन को संबोधित किया, जिसमें भाग लेने के लिए स्पेन के विदेश मंत्री ने उन्हें आमंत्रित किया था। अपने संबोधन में उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे राष्ट्र अपनी संस्कृति, विरासत और परंपराओं में निहित कूटनीति के प्रति अपने अनूठे दृष्टिकोण को आकार देते हैं। उन्होंने यह भी चर्चा की कि कैसे ये तत्व अस्थिर वैश्विक परिदृश्यों से निपटने में देशों की मदद करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में डॉ. जयशंकर ने टिप्पणी की स्पेन और यूरोपीय संघ के साथ भारत के संबंध इन अशांत समय में एक स्थिर कारक हो सकते हैं। उन्होंने दोनों देशों के बीच स्थायी संबंधों और वैश्विक स्थिरता में योगदान देने की इसकी क्षमता पर भी जोर दिया। सम्मेलन के बाद डॉ. जयशंकर ने स्पेन के विदेश मंत्री के साथ व्यापार, निवेश, रक्षा, सुरक्षा, शहरी विकास, रेलवे, हरित हाइड्रोजन, जलवायु कार्रवाई और लोगों से लोगों के बीच संबंधों सहित कई विषयों पर विस्तृत चर्चा की। दोनों नेताओं ने खेल और सतत शहरी विकास पर समझौतों पर भी हस्ताक्षर किए, जिससे इन क्षेत्रों में दोनों देशों के बीच सहयोग और मजबूत हुआ है।
इसके बाद जयशंकर ने मंगलवार को स्पेन में भारतीय प्रवासियों के सदस्यों से मुलाकात की। बातचीत के दौरान, उन्होंने उनके योगदान के लिए आभार व्यक्त करते हुए कहा, ‘‘जब हमारी छवि दुनिया में प्रवासियों द्वारा बनाई जाती है, तो यह हमारे संबंधों को आगे बढ़ाने का आधार बन जाती है।’’ विदेश मंत्री ने ऐसा मजबूत आधार बनाने के लिए प्रवासी समुदाय की सराहना की, जिस पर भारत स्पेन के साथ अपने संबंधों को और गहरा कर रहा है।