- इंस्पेक्टर की अंतिम संस्कार में सैकड़ों लोग रहे मौजूद
- चार कुख्यात बदमाशों को किया था ढेर
ए अहमद सौदागर
लखनऊ। शामली जिले में मुठभेड़ शहीद हुए एसटीएफ के इंस्पेक्टर सुनील कुमार का पार्थिव शरीर सुबह नौ बजे गुरुग्राम से मेरठ पुलिस लाइन लाया गया। परिजन दस बजे शव घर लेकर पहुंचे। घर से श्मशान घाट तक सैकड़ों लोग अंतिम यात्रा में शामिल हुए। वहीं इस दौरान सुनील कुमार अमर रहें के नारे भी लगते रहे। श्मशान घाट पर शव से लिपटा तिरंगा इंस्पेक्टर के भाई को सौंपा गया। बताया गया कि सांसद अरुण गोविल ने शहीद के परिवार को सांत्वना दी। शहीद इंस्पेक्टर सुनील कुमार का अंतिम संस्कार इंचौली स्थित उनके गांव मसूरी में किया गया। बेटे मंजीत ने शहीद पिता को मुखाग्नि दी।
शहीद इंस्पेक्टर की पत्नी- बेटी को सांत्वना देने के साथ संभालते रहे घर वाले
बताया जा रहा है कि शहीद इंस्पेक्टर की पत्नी, बेटी व बेटे को सांत्वना देने के साथ संभालते रहे करीबी व घर वाले। बताया गया कि इससे पहले मेरठ पुलिस लाइंस में एडीजी मेरठ डीके ठाकुर, डीआईजी कलानिधि नैथानी, एसएसपी विपिन टाडा, एसएसपी एसटीएफ घुले सुशील चंद्रभान ने शहीद के शव को कंधा दिया। वहीं भारी संख्या में एसटीएफ टीम भी अपने साथी को अंतिम श्रद्धांजलि देने पहुंची। सनद रहे कि इंस्पेक्टर सुनील कुमार बुधवार को शहीद हो गए थे। सोमवार (20 जनवरी) की रात उनकी टीम ने शामली में कग्गा गैंग के 4 बदमाशों का एनकाउंटर किया था। मुठभेड़ में इंस्पेक्टर के पेट में दो गोली लगी थी। सुनील कुमार को गुड़गांव के मेदांता अस्पताल ले जाया गया, जहां सर्जरी की गई थी। हालांकि, तीन दिनों तक जिंदगी-मौत से लड़ने के बाद इंस्पेक्टर सुनील कुमार ने अंतिम सांस ली।