#nostalgia

Analysis

आज का पैगाम : हारिये न हिम्मत, बिसारिये न राम !!

के. विक्रम राव जब निराशा, हताशा, विषाद, मायूसी, उदासी, व्यथा घेर ले तो मन को खिन्न न होने दें। इतिहास, पुराण के कुछ पुराने पृष्ठों को याद कर लें। यही दिन (जेष्ठ की द्वादशी) था जब ऋष्यमूक पर्वत (कोप्पल), कर्नाटक, के वनों में निराश राम की हनुमान से भेंट हुई थी। शाश्वत मैत्री उसी क्षण […]

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